
दी ग्लोबल टाईम्स न्यूज़ /देहरादून : कारगिल विजय दिवस से पहले, उत्तराखंड के मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने राज्य के शहीद सैनिकों के आश्रितों को दी जाने वाली अनुग्रह राशि को 10 लाख रुपये से बढ़ाकर 50 लाख रुपये करने की घोषणा की थी।
मुख्यमंत्री द्वारा की गई घोषणा के अनुपालन से संबंधित शासनादेश सोमवार को जारी कर दिया गया। सैनिक कल्याण अनुभाग से जारी शासनादेश में स्पष्ट किया गया है कि मुख्यमंत्री द्वारा की गई घोषणा के अनुक्रम में सर्वोच्च बलिदान देने वाले सैनिकों के आश्रितों को यह धनराशि 26 जुलाई 2024 से अनुमन्य की जाएगी। इस प्रकार अब युद्ध में शहीद हुए सैनिकों के आश्रितों को 50 लाख रुपये की अनुग्रह राशि दी जाएगी।
मुख्यमंत्री ने कहा है कि उत्तराखंड देवभूमि के साथ-साथ वीरभूमि भी है। हमारे वीर जवानों ने देश की सीमाओं की रक्षा में अपने अदम्य साहस और पराक्रम का परिचय दिया है।
उन्होंने कहा कि प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी के नेतृत्व में सैनिकों के हित में भी कई महत्वपूर्ण निर्णय लिए जा रहे हैं। वन रैंक-वन पेंशन, राष्ट्रीय युद्ध स्मारक का निर्माण, रक्षा बजट में वृद्धि के साथ ही सीमावर्ती क्षेत्रों में बुनियादी ढांचे को मजबूत किया गया है।
मुख्यमंत्री ने कहा कि राज्य सरकार सैनिकों एवं उनके परिवारों के कल्याण के लिए प्रतिबद्ध है। सैनिकों के आश्रितों को दी जाने वाली अनुग्रह राशि 10 लाख रुपये से बढ़ाकर 50 लाख रुपये कर दी गई है।
परमवीर चक्र से लेकर मेंशन इन डिस्पैच तक सभी वीरता पुरस्कारों से अलंकृत सैनिकों को दी जाने वाली एकमुश्त राशि और वार्षिकी राशि में भी वृद्धि की गई है। शहीदों के परिवार के एक सदस्य को राज्य में सरकारी नौकरी देने का भी निर्णय लिया गया है।
कारगिल विजय दिवस, जो हर साल 26 जुलाई को मनाया जाता है, 1999 में ऑपरेशन विजय की सफलता का स्मरण कराता है। इस संघर्ष के दौरान, भारतीय सेना ने जम्मू और कश्मीर के कारगिल सेक्टर में रणनीतिक ठिकानों पर सफलतापूर्वक कब्ज़ा कर लिया था, जहाँ पाकिस्तानी सैनिकों और आतंकवादियों ने घुसपैठ की थी।